Arun Kumar Sandey

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Breaking News: रलिया के बाद ग्राम खैरभावना ( कनबेरी ) में फिर दो लोगों को उतारा मौत के घाट

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हाथी आपे से बाहर, वन विभाग भी लोगों की जान बचाने में विफल

कोरबा, 08 अगस्त 2024 ( बोल छत्तीसगढ़ ) पाली के जंगलों की ओर से एक दंतैल व्यस्क हाथी ग्राम रलिया दाखिल हुआ , बताया जा रहा है कि घुमने गई महिला का हाथी से सामना हुआ और हाथी ने पटक-पटककर उसकी जान ले ली, फिर वह आगे बढ़ता हुआ गेवरा के ग्राम खोडरी पहुंचा जहां वह एक “ग्रीन डेयरी” अर्थात खटाल में बाड़े को तोड़कर घुस गया और वहां बंधे गायों पर हमला कर दिया जिसमें तत्काल एक गाय की मौत हो गई बांकी जो घायल हैं उनकी स्थिति भी नाजुक बनी हुई है, उत्पात मचाते हुए हाथी ग्राम खोडरी के वृंदावन नर्सरी में जाकर छुप गया फिर वह शाम होते-होते वहां निकलकर ग्राम खैरभावना कनबेरी पहुंच जहां फिर से उसने दो लोगों की जान ले ली ।

तीसरी मृतक ग्राम खैरभावना
दूसरी मृतक ग्राम खैरभावना
पहली मृतक ग्राम रलिया

अबतक वन अमला अपने प्रयास में विफल

आखिर इतनी व्यवस्था और दल-बल के बावजूद शासन-प्रशासन की कहां पर चूक हुई या फिर वन अमला कहां चूका जिससे दो ग्रामीणों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा, सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार ड्रोन से निगरानी भी रखी जा रही थी, फिर ये हादसा आखिर किस ओर इशारा कर रहा है !

जोहार छत्तीसगढ़ पार्टी के सूरेन्द्र राठौर ने बताया

जोहार छत्तीसगढ़ पार्टी के कटघोरा विधान सभा रहे प्रत्यासी सुरेंद्र प्रसाद राठौर ने कहा आज मेरे गाँव भठोरा एवं लगे हुवे अन्य गांव में जंगली हाथी का आना जन धन की हानि पहचाना यह हसदेव जंगलो की बेतरतीब कटाई का ही परिणाम है जो हम भुगत रहे हैं आने वाले वक्त में इससे भी विकराल स्थिति का सामना करना पड़ेगा अगर हम समय रहते सुधरे नही तो क्योंकि हसदेव जंगल मात्र जंगली जानवर या वहाँ निवास करने वाले आदिवासीयो से ही जुड़ा है ऐसा कतई नही है में बता दु की जिन नदी से कई बड़े उद्योग का संचालन हो रहा वह उसी हसदेव के जंगलों के कैच मेन्ट एरिया है व उन में बनी विशालकाय मिनी माता डेम जो हैं उनमें से निकलने वाले नहरों से पूरा जांजगीर चापा जिला व उनसे सटे हुवे कई जिलों के खेतिहर जमीन व करोड़ो लोगो की प्यास बुझता हैं यह जंगल एक वर्ष भी नहर में पानी नही छोड़ा जाता तो उन जिलो में त्राहीमाम की इस्थिति पैदा हो जाती है इन जंगलो के विनास को रोकना ही होगा हम मूल निवासी सदैव प्रकृति पूजक रहे हैं पर आज ऐसी कई स्थिति आ गई कि जिन जंगलो को हमारे पुरखो ने अपने लहू से सींचा आज उसको उजाड़ते य उजड़ते देख हमारा खून नही पसीझता खैर पूरे प्रदेश में छत्तीसगढिया क्रान्ति सेना और जोहार छत्तीसगढ़ पार्टी ही मात्र है जो पूरी इमानदारी से हसदेव के जंगलों के विनास को रोकने का प्रयास कर रही और जेल भी जा रही और निरन्तर ईमानदार प्रयास करते रहेंगे

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